हमारे शहीदों से हमें प्रेरणा लेने की जरूरत- अमरिक सिंह
कल इंकलाबी समागम में नाटक होगा लच्छू कबाडिया व जोगिंदर सिंह उगराहां होंगे मुख्य वक्ता
कपूरथला (ਸਮਾਜ ਵੀਕਲੀ) (कौड़ा)- 23 मार्च के शहीदों, शहीद भगत सिंह, राजगुरु व सुखदेव तथा आरसीएफ एंप्लाइज यूनियन द्वारा करवाए जा रहे 24 मार्च के इंकलाबी समागम को समर्पित, मशाल मार्च आरसीएफ वर्कर क्लब से कॉलोनी में निकाला गया। मशाल मार्च में आरसीएफ के सैकड़ों कर्मचारी परिवारों सहित इंकलाबी नारे लगाते हुए शामिल हुए।इस दौरान आर सी एफ इंप्लाइज यूनियन के अध्यक्ष कामरेड अमरीक सिंह ने कहा कि हम शहीदों को याद करते हुए नारा लगाते हैं, इंकलाब जिंदाबाद लेकिन यह अधूरा नारा है, भगत सिंह ने पूरा नारा लगाया था इंकलाब जिंदाबाद साम्राज्यवाद मुर्दाबाद। साम्राज्यवाद का अर्थ है दूसरे की मेहनत और उसके संसाधनों पर कब्जा करने के लिए उस इलाके पर कब्जा करना उसे अपना साम्राज्य बना लेना। पहले यह काम एक देश दूसरे देश पर करता था, आज अंदरूनी साम्राज्यवाद बेरोकटोक जारी है। भगत सिंह ने कहा था यह एक युद्ध है और यह युद्ध अंग्रेजों के जाने के बाद भी बंद नहीं होगा। वह युद्ध चल रहा है।
अमरीक सिंह ने कहा कि आज के इस दौर में जब सरकारों द्वारा मेहनतकश लोगों व देश की बहुमूल्य संपत्ति को कारपोरेट घरानों को लुटाने के लिए चारों तरफ से दरवाजे खोल दिए गए हो, पी पी पी एफ डी आई , आउटसोर्सिंग, ठेकेदारी, निगमीकरण, निजीकरण इत्यादि के माध्यम से देश के सरकारी अदारों को पूंजीपतियों के हवाले किया जा रहा हो तो शहीद-ए-आजम शहीद भगत सिंह द्वारा अपनी फांसी से पहले लिखी गई वह बात याद आती है जिसमें उन्होंने लिखा था कि “मेरे जाने के कुछ समय बाद एक समझौते के तहत अंग्रेज यहां से चले जाएंगे और देश को आजादी मिल जाएगी, लेकिन लोगों की वास्तविक स्थिति में कोई फर्क नहीं पड़ेगा और इसी तरह अफरा-तफरी में कुछ वर्ष बीत जाएंगे और फिर लोगों को मेरी याद आएगी”। सिंह ने कहा कि आज हम उसी मुकाम पर खड़े हैं, आज हमारे शहीदों द्वारा हमें दर्शाए गए रास्ते पर चलने की अहम जरूरत है।
आर सी एफ एंप्लाइज यूनियन के महासचिव कामरेड सर्वजीत सिंह ने कहा कि आरसीएफ एंप्लाइज यूनियन द्वारा शहीदों को याद करते हुए समय-समय कर्मचारियों को विचारक तौर पर जागृत करने के लिए ऐसे कार्यक्रम किए जाते हैं। उन्होंने कहा कि इस बार शहीद भगत सिंह, राजगुरु व सुखदेव के शहीदी दिवस को समर्पित इंकलाबी समागम 24 मार्च दिन शुक्रवार को शाम 7:00 बजे स्थानीय वर्कर क्लब में करवाया जा रहा है। इस कार्यक्रम में मुख्य वक्ता के तौर पर किसानी संघर्षों के नायक जोगिंदर सिंह उगराहां अपनी बात हमारे सामने रखेंगे व डॉक्टर साहिब सिंह द्वारा निर्देशित नाटक “लच्छू कबाडिया” खेला जाएगा जो संघर्षशील लोगों के आदर्श को पेश करेगा, इसके अतिरिक्त शहीद भगत सिंह विचार मंच, आरसीएफ की टीम द्वारा इंकलाबी “गीत संगीत व कोरियोग्राफी” पेश की जाएंगी। उन्होंने प्रेस के माध्यम से समूह रेडिका कर्मचारियों तथा उनको परिवारों को इस इंकलाबी समागम में शामिल होने का आह्वान किया।
मशाल मार्च में आर सी एफ एंप्लाइज यूनियन के अतिरिक्त सचिव अमरीक सिंह गिल, संयुक्त सचिव मनजीत सिंह बाजवा, कोषाध्यक्ष हरविंदर पाल, कार्यकारी अध्यक्ष दर्शन लाल, वरिष्ठ उपाध्यक्ष बाबू सिंह, बचित्तर सिंह, प्रेस सचिव तरलोचन सिंह, जसपाल सिंह सेखों, शरणजीत सिंह, प्रदीप सिंह, अरविंद कुमार शाह, तलविंदर सिंह, जगदीप सिंह इत्यादि शामिल हुए , इसके अलावा आरसीएफ एसी एसटी ऐसोसिएशन व अंबेदकर सोसाईटी से भी श्री धर्मपाल पैंथर व जीत सिंह जी ने अपने साथियों सहित भाग लिया।
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