इंडियन रेलवे इंप्लाइज फेडरेशन का तृतीय राष्ट्रीय महाधिवेशन धूमधाम से हुआ संपन्न

सर्वजीत सिंह महामंत्री व मनोज पांडेय अध्यक्ष चुने गए

कर्मचारी हितों के लिए संघर्ष लगातार जारी रहेगा: सर्वजीत सिंह

महाधिवेशन में कुल 65 लोगों की कार्यकारिणी और 40 पदाधिकारी चुनें गए।

 कपूरथला (ਸਮਾਜ ਵੀਕਲੀ) (कौड़ा)- इंडियन रेलवे इंप्लाइज फेडरेशन का तृतीय दो दिवस महाधिवेशन ईस्टर्न सेंट्रल रेलवे एम्प्लाइज के तत्वाधान में 11 व 12 दिसंबर, 2022 को धनबाद (झारखंड) में संपन्न हुआ । जिसमें रेलवे के 15 जोनों से सेकड़ो कार्यकर्ता शामिल हुए। गौरतलब है कि भारतीय रेलवे में इंडियन रेलवे इंप्लाइज फेडरेशन ही एक मात्र ऐसा संगठन है जो भारत सरकार की कर्मचारी व आमजन विरोधी नीतियों के खिलाफ चुनौती बनकर उभरा है। पुरानी पेंशन बहाल करवाने, रेलवे से एक्ट अप्रेंटिस पास नौजवानों को जल्द रेलवे में भर्ती करने, रेलवे में निजीकरण/निगमीकरण की साजिशों पर तुरंत रोक लगवाने, खाली पड़ी पोस्टों पर तुरंत नई भर्ती करने इत्यादि गंभीर मांगों को लेकर इंडियन रेलवे इंप्लाइज फेडरेशन ने भारतीय रेलवे में परंपरागत संगठनों से अलग एक अलग पहचान बनाई है।

इंडियन रेलवे इंप्लाइज फेडरेशन के इस अधिवेशन में कॉमरेड सर्वजीत सिंह को पुनः राष्ट्रीय महासचिव तथा कामरेड मनोज पांडे को पुनः राष्ट्रीय अध्यक्ष के रूप में चुना गया। इस महाधिवेशन में परंपरागत रेलवे संगठनों से हटकर नई पेंशन स्कीम के अंतर्गत आते कर्मचारियों को फेडरेशन के अहम पदों पर चुना गया, जिनमें फ्रंट अगेंस्ट एनपीएस इन रेलवे के राष्ट्रीय अध्यक्ष कामरेड अमरीक सिंह को फेडरेशन के कार्यकारी अध्यक्ष तथा फ्रंट के ही राष्ट्रीय महासचिव कामरेड राजेंद्र पाल को फेडरेशन के अतिरिक्त सचिव के रूप में चुना गया। इसके अतिरिक्त नई पेंशन स्कीम के खिलाफ संघर्षरत कई कर्मचारी साथियों को फेडरेशन के अहम पदों पर चुना गया।

इंडियन रेलवे इंप्लाइज फेडरेशन के महासचिव कामरेड सर्वजीत सिंह व अध्यक्ष मनोज पांडेय ने कहा कि भारतीय रेलवे में विभिन्न प्रकार के कार्य, विभिन्न कर्मचारियों व विभिन्न क्षेत्रों/विभागों द्वारा पूर्ण किए जाते हैं, जिसके अंदर कई तरह की समस्याओं से दिन-रात कर्मचारी सामना कर रहे हैं, इसके अतिरिक्त भारत सरकार की कर्मचारी व देश विरोधी नीतियों के चलते रेलवे में अंधाधुंध आउटसोर्सिंग, निगमीकरण/निजीकारण, ठेकेदारी प्रथा, पीपीपी, एफडीआई इत्यादि को बढ़ावा दिया जा रहा है, जिसके चलते भारतीय रेलवे की दुर्दशा लगातार बद से बदतर होती जा रही है। इन नीतियों का सामना करते हुए, रेलवे को बचाने व रेल कर्मचारियों के हितों की रक्षा के लिए इंडियन रेलवे इंप्लाइज फेडरेशन वचनबद्ध है व हमेशा से ही संघर्ष के रास्ते पर अग्रसर रही है। सर्वजीत सिंह ने कहा की इंडियन रेलवे इंप्लाइज फेडरेशन एक वैकल्पिक फेडरेशन के रूप में रेल कर्मचारियों के बीच जगह बना चुका है व हम कर्मचारी हितों की रक्षा व उनके अधिकार प्राप्त करने के लिए किसी भी हद तक संघर्ष करेंगे।

नेशनल मूवमेंट फॉर ओल्ड पेंशन स्कीम के राष्ट्रीय अध्यक्ष माननीय विजय कुमार बंधु व फ्रंट अगेंस्ट एनपीएस इन रेलवे के राष्ट्रीय अध्यक्ष का. अमरीक सिंह ने संयुक्त रूप में कहा कि वर्ष 2012 में रेल कोच फैक्ट्री, कपूरथला की धरती से शुरू हुआ पुरानी पेंशन बहाली का संघर्ष आज पूरे देश में एनएमओपीएस व रेलवे में एफ.ए.एनपीएस.आर के नेतृत्व में अपने अंजाम की ओर बढ़ रहा है। इस बेमिसाल संघर्ष के आगे झुकते हुए पांच राज्यों की सरकार पुरानी पेंशन बहाल करने को विवश हुई है। नेताओं ने कहा की अगले आने वाले लोकसभा चुनावों तक पुरे देश में पुरानी पेंशन बहाली का टारगेट रखते हुए संघर्ष को और तेज करना होगा जिसके लिए रेलवे के हरएक कर्मचारी को अहम भूमिका निभाते हुए आगे आना होगा, क्योंकि बिना रेलवे कर्मचारियों की भागीदारी से यह संघर्ष ना ही लड़ा जा सकता है और ना ही जीता जा सकता है।

ऑल इंडिया सेंट्रल काउंसिल आफ ट्रेड यूनियन के राष्ट्रीय महासचिव कामरेड राजीव डिमरी जो इस अधिवेशन में विशेष अतिथि के रुप में शामिल हुए थे नई चुनी गई कार्यकारिणी को सम्बोधित होते हुए कहा कि रेलवे कर्मचारियों की हताशा को दूर करते हुए इंडियन रेलवे इंप्लाइज फेडरेशन को अग्रिम कतार में संघर्ष करना होगा। माननीय विधायक बगोदर (झारखंड) का. विनोद कुमार सिंह जो मुख्य अतिथि के रुप में शामिल हुए ने भारत सरकार की आमजन व देश विरोधी तथा कॉर्पोरेट हितेषी नीतियों की पोल खोल कर रख दी, तथा इसके खिलाफ देशभर के मजदूरों को एकजुट होने का आह्वान किया।

अधिवेशन में इंडियन रेलवे मजदूर यूनियन, दक्षिण मध्य रेलवे सिंकदराबाद, आरसीएफ इम्प्लाइज यूनियन कपूरथला, डीएलडब्ल्यू रेल मजदूर यूनियन वाराणसी, आरसीएफ इम्प्लाइज यूनियन रायबरेली, सीएलडब्ल्यू इम्प्लाइज यूनियन चितरंजन, ईस्ट कोस्ट रेलवे इम्प्लाइज यूनियन भुवनेश्वर, डीएमडब्ल्यू इम्प्लाइज पटियाला, नार्थ सेंट्रल रेलवे वर्कर्स यूनियन प्रयागराज, पूर्वोत्तर रेलवे वर्कर्स यूनियन गोरखपुर, वेस्ट सेंट्रल रेलवे वर्कर्स यूनियन जबलपुर, पूर्व मध्य रेलवे इम्प्लाइज यूनियन हाजीपुर, नार्दन रेलवे इम्प्लाइज यूनियन नई दिल्ली, ईस्टर्न रेलवे इम्प्लाइज यूनियन कोलकाता, साऊथ ईस्टर्न रेलवे मजदूर यूनियन कोलकाता, इंडियन रेलवे इम्प्लाइज यूनियन, उत्तर पश्चिम रेलवे जयपुर जोन शामिल हुए।

 

 

 

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