हुसैनपुर ,23 मई (समाज वीकली – कौड़ा)-पूंजीपति घरानों के इशारों पर मोदी सरकार द्वारा श्रम कानूनों में बदलाव, सार्वजनिक क्षेत्र के निजीकरण, गरीब मेहनतकश जनता पर असहनीय जुल्म, कर्मचारियों के महंगाई भत्ते को रोकने के खिलाफ व अन्य मांगों को लेकर देश की दस केंद्रीय ट्रेड यूनियनों के आह्वान पर 22 मई को पूरे देश में विरोध दिवस पर कर्मचारी संगठनों द्वारा नारेबाजी की गई। इसी संधर्ब में इलाहाबाद में लॉकडाउन का पूर्णतया पालन करते हुए ऐक्टू सहित एटक, इंटक, सीटू, ठेका मजदूर, सफाई कर्मी, राज्य कर्मचारी, केंद्रीय कर्मचारियों ने श्रम आयुक्त कार्यालय पर ज्ञापन दिया। लेकिन योगी सरकार द्वारा तानाशाही तरीके से बेवजह मजदूर नेताओं जिसमें ऐक्टू के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व इंडियन रेलवे एम्प्लाईज फेडरेशन के राष्ट्रीय अध्यक्ष, मनोज कुमार पांडेय व ऐक्टू के राष्ट्रीय सचिव व आई.आर.ई.एफ. के सहायक सचिव सहित, डॉ. कमल उसरी सहित दो अन्य मज़दूर नेताओं पर एफआईआर दर्ज की गई है।